National Education Policy 2020

सत्र 2025 - 26 में स्नातक एवं परास्नातक प्रथम सेमेस्टर में प्रवेश और पाठ्यक्रम संरचना

  • राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के प्रावधानों के क्रम में स्नातक बी.ए./बी.एस.सी./बी.कॉम. एवं परास्नातक स्तर पर एम.ए, एम. एस. सी. एवं एम. काम. सेमेस्टर प्रणाली से किए जाऐगें ।
  • एक शैक्षणिक सत्र में दो सेमेस्टर शामिल हैं।
  • राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अनुसार स्नातक एवं परास्नातक स्तर पर बी.एस.ए. स्नातकोत्तर कॉलेज, मथुरा में त्रिवर्षीय स्नातक/चार वर्षीय स्नातक/ द्विवर्षीय स्नातकोत्तर कार्यक्रम उपलब्ध हैं |
त्रिवर्षीय स्नातक/चार वर्षीय स्नातक/ द्विवर्षीय स्नातकोत्तर कार्यक्रम/पाठ्यक्रमों की संरचना :
  • ये सभी व्यवस्थाएं सत्र 2025-26 से स्नातक प्रथम वर्ष में प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों पर ही लागू होंगी।
  • यह व्यवस्था कला, विज्ञान, वाणिज्य आदि संकायों में त्रिवर्षीय बहुविषयक स्नातक तथा चार वर्षीय स्नातक (मानद व मानद शोध सहित) तथा बी.ए., बी.एस.सी. एवं बी.काम. तथा एकल विषय परास्नातक तथा एम.ए., एम.एस.सी., एम.काम. कार्यक्रमों में लागू होगी।
  • त्रिवर्षीय एकल विषय स्नातक, स्नातक (आनर्स) यथा बी०एससी० (माइक्रोबायोलॉजी) इत्यादि तथा एकल विषयक/संकाय स्नातक तथा बी.सी.ए., बी.बी.ए., बी.एस.सी. (बायोटेक्नोलॉजी), बी.एस.सी. (केमिस्ट्री), बी.ए. (इकोनॉमिक्स) आदि कार्यक्रमों में भी लागू होगी।
न्यूनतम सामान्य पाठ्यक्रम :
  • त्रिवर्षीय बहुविषयक स्नातक स्तर पर विभिन्न विषयों के न्यूनतम समान पाठयक्रम (Minimum Common Syllabus) पूर्व में ही उपलब्ध हैं। वह आगे भी लागू रहेंगे।
  • चार वर्षीय स्नातक (FYUP) कोर्स का पाठ्यक्रम
    स्नातक के तीन वर्ष, एवं परास्नातक के प्रथम वर्ष को जोड़कर माना जायेगा।
  • प्रारम्भ में विद्यार्थी का प्रवेश तीन वर्ष की बहुविषयक स्नातक डिग्री हेतु होगा।
  • चौथे वर्ष में विद्यार्थी चार वर्ष की
    1. स्नातक (मानद),
    2. स्नातक (मानद शोध सहित), एवं
    3. स्नातक (एप्रेन्टिसशिप एम्बेडिड) डिग्री
    में से किसी एक का चयन कर सकते हैं।
शोध परियोजना :
  • स्नातक स्तर पर द्वितीय वर्ष (चतुर्थ सेमेस्टर) में विद्यार्थी अपने द्वारा चयनित दो मुख्य विषयों में से किसी एक विषय से संबंधित तीन क्रेडिट की एक शोध परियोजना करेगा।
  • विद्यार्थी स्नातक स्तर पर द्वितीय वर्ष के पश्चात की गई शोध परियोजना की प्रोजेक्ट रिपोर्ट अपने विश्वविद्यालय/महाविद्यालय में जमा करेगा।
  • स्नातक (मानद शोध सहित) अथवा स्नातकोत्तर प्रथम वर्ष के दोनों सेमेस्टर्स में विद्यार्थी चार-चार क्रेडिट के दो कोर्स के स्थान पर एक शोध परियोजना ले सकता है।
  • यह शोध परियोजना एक सप्तम एवं एक अष्टम सेमेस्टर के थ्योरी कोर्स के स्थान पर लेनी होंगी ना कि किसी एक सेमेस्टर के दो कोर्स के स्थान पर।
  • स्नातक चतुर्थ वर्ष में शोध सहित उत्तीर्ण होने वाले विद्यार्थी को स्नातक (मानद शोध सहित) की उपाधि दी जाएगी।
  • स्नातक चतुर्थ वर्ष में बिना शोध परियोजना उत्तीर्ण होने वाले विद्यार्थी को स्नातक (मानद) की उपाधि दी जाएगी।
  • स्नातकोत्तर द्वितीय वर्ष (उच्च शिक्षा का पंचम वर्ष) में अनिवर्य रूप से एक शोध परियोजना करनी होगी जो कि नवम एवं दशम सेमेस्टर में चार-चार क्रेडिट्स की होगी।
सभी सेमेस्टरों के लिए एनईपी की समग्र योजना :

विभिन्न कक्षाओं में पाठ्यक्रम संरचना

Course Year Sem.
B.A./B.Sc./B.Com. (Certificate Course) First Year
सह-पाठ्य विषय (Co-Curricular Subject) :

सभी विद्यार्थियों के लिए एक अतिरिक्त अनिवार्य विषय संपूर्ण 3 वर्ष (6 सेमेस्टर) में पढ़ना अनिवार्य होगा अर्थात 6 सेमेस्टर में 6 निम्नलिखित विषय पढ़ने होगें। इन विषयों की परीक्षा वस्तुनिष्ठ होगी व उसमें 40% अंक प्राप्त करना अनिवार्य होगा। जो कि निम्न प्रकार हैं:

क्र.सेमेस्टरसह- पाठ्य विषयदेंखे
1.प्रथमभोजन, पोषण और स्वच्छताView
2.द्वितीयप्राथमिक चिकित्सा और स्वास्थ्यView
3.तृतीयमानव मूल्य तथा पर्यावरण अध्ययनView
4.चतुर्थशारीरिक शिक्षा और योगView
5.पंचमविश्लेषणात्मक क्षमता और डिजिटल जागरूकताView
6.षष्ठम्संचार कौशल और व्यक्तित्व विकासView

नोट : एक वर्ष में विद्यार्थी को 2 सेमस्टर उत्तीर्ण करने पर Certificate दो वर्ष में 4 सेमेस्टर उत्तीर्ण करने पर Diploma व तीन वर्ष में विद्यार्थी को 6 सेमेस्टर उत्तीर्ण करने पर सम्बधित विषय की स्नातक उपाधि मिलेगी।

मुख्य संसाधन (Main Resorces) :
क्र.शीर्षकदेंखे
1.National Education Policy 2020View
2.Common Minimum SyllabusView
3.Vocational/Skill Development Courses View
4.PG Ordanance (NEP)View

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